अगर रोज़ेदार ने मग़रिब के वक़्त किसी जगह रोज़ा इफ़्तार कर लिया हो और फिर वो किसी ऐसी जगह सफ़र कर जाए जहाँ अभी मग़रिब का वक़्त न हुआ हो तो उसके रोज़े का क्या हुक्म है?

Question
in progress 0 , 1 वर्ष 1 जवाब Reply 49 views

कभी कभी मस्जिद में हमारे हाथ से छूटकर सज्दागाह टूट जाती है या सफाई सुथराई या दूसरे कामों के दौरान नुक़सान पहुंच जाता है तो क्या ऐसी स्थिति में हम इस नुक़सान के ज़िम्मेदार हैं?

Question
in progress 0 1 वर्ष 1 जवाब Reply 7 views